Lovely life
ज़िन्दगी मे आत्मविस्वाश हो बहुत जरुरी है हर एक अच्छी से अच्छी और खराब से खराब सिचुएशन मेँ
भी नही खोंनी चाहिए।।।।
ऐसी ही एक कहानी मैं आज आपलोगो को बताने जा रहा हु।
तो कहानी इस प्रकार है-
एक बहुत बड़ा व्यापारी था जिसका एक समय मे उनका व्यापर तो बहुत अच्छा चल रहा था।लेकिन समय के साथ -साथ उनका व्यापर धीरे धीरे डूबने लगा ।
वो पूरा हतोतशाही हो गया ।उनको समझ नहीं आ रहा था की क्या किया जाय की मेरा व्यापार पूरी तरह से बर्बाद हो गया था ।
अब वो अपनी आत्मविश्वाश पूरी तरह से खो दिया था।
अब वो न तो कुछ कर रहा था और न ही कुछ सोच पा रहा था की अपनी life मे वो आगे कैसे बड़े ।वो अब सोच रहा था की कोई मेरे ज़िन्दगी मेँ आये और मेरा व्यापार और मेरी ज़िन्दगी को फिर से खुशहाल बना दे।
लेकिन ऐसा कुछ नहीं हो रहा था समय बीतता जा रहा थे।
लेकिन एक दिन ऐसा हुआ की वो एक बगीचे मे पूरा उदास बैठा था उसी समय एक पूरा बढ़ा आदमी उसके पास आया और बोला की बहुत उदास बैठे हो तुम्हारी कोई परेशानी है क्या ?
यदि कोई परेशानी है तो तुम मुझे बताओ शायद मई तुम्हारी कोई मदद कर सकूँ।
तो उस व्यापारी ने अपनी सारी मुश्किलें बताई। तो वो बूढ़ा व्यक्ति उसे एक cheque sign कर के दिया और खा की फिर तुम इसी दिन इसी जगह पर अगले साल इस चेक को फिर मुझे लौटा देना और वो बूढ़ा व्यक्ति वहा से चला गया।
जब उस व्यापारी ने उस cheque को देखा तो वो 50 लाख का था उसकी आँखे फटी की फटी रह गई । और उस चेक पर जो sign था वो उस शहर के सबसे मशहूर व्यक्ति का था जो वहां का सबसे आमिर व्यक्ति था ।
जा उस व्यापारी ने उसे ढु नने की कोशिश की लेकीन वो आदमी वहां से चला गया था।
अब वो व्यापारी ने प्रण लिया की उस cheque को वो तभी use करेगा जब उसकी बहुत ज्यादा जरुरी हो उसके लिए।
अब वो अपने व्यापार को फिर से खड़ा करने की कोशिश की और उनका व्यापर धीरे धीरे अब आगे बढ़ने लगा और वो कुछ ही दिनों में उनकी अछि खासी इनकम होना स्टार्ट हो गया। और अब वह पहले से भी ज्यादा अच्छी पोजीशन में था।
इस तरह एक साल बीत गया वो दिन आ गया जब उनको ये cheque वापस लौटाने थे।
तब वो फिर उसी बागीचे में पंहुचा जहाँ पर वो उस बड़े आदमी से मिला था उस cheque को लेकर।।
उसने देखा की वो बूढ़ा आदमी वह पर था लेकिन वो कुछ पागल की तरह कर रहा था। उसके बाद वहा पर कुछ आदमी आये और उसे पकड़ कर ले जाने लगे उनलोगो से पूछने पर पता चला की वो बूढ़ा आदमी कोई बड़ा आदमी नहीं था बल्कि वो एक पागल था
वो हमेशा उसे बढे आदमी की तरह बनना चाहता था लेकिन बन नहीं पाया और पागल हो गया। अब वो हमेशा उस बड़े आदमी का हमेशा नकल करता रहता है।
वो व्यपारी यह घटना देखकर उस को अपनी आखो पर विश्वाश नहीं हो पा रहा था।
जब वो उस cheque की तरफ देखा तो वो cheque नकली था।जो वो हमेशा अपने सा थ एक साल से लेकर घूम रहा था।
तब उसे समझ में आया की इतना बड़ा काम वो अपने आत्मविश्वास के कारण प्राप्त किया।जिससे इतना बड़ा चमत्कार हो पाया जो की वह कितनो भी 5 साल तक भी मेहनत करता फिर भी उतना बड़ा आदमी नहीं बन पात आ जो आब वो बन गया था।
ये है आत्मविस्वाश का कमाल।।।
आत्मविस्वाश का कमाल।।।#love you Zindagi
आत्मविस्वाश का कमाल।।।#love you Zindagi |
भी नही खोंनी चाहिए।।।।
ऐसी ही एक कहानी मैं आज आपलोगो को बताने जा रहा हु।
तो कहानी इस प्रकार है-
एक बहुत बड़ा व्यापारी था जिसका एक समय मे उनका व्यापर तो बहुत अच्छा चल रहा था।लेकिन समय के साथ -साथ उनका व्यापर धीरे धीरे डूबने लगा ।
वो पूरा हतोतशाही हो गया ।उनको समझ नहीं आ रहा था की क्या किया जाय की मेरा व्यापार पूरी तरह से बर्बाद हो गया था ।
अब वो अपनी आत्मविश्वाश पूरी तरह से खो दिया था।
अब वो न तो कुछ कर रहा था और न ही कुछ सोच पा रहा था की अपनी life मे वो आगे कैसे बड़े ।वो अब सोच रहा था की कोई मेरे ज़िन्दगी मेँ आये और मेरा व्यापार और मेरी ज़िन्दगी को फिर से खुशहाल बना दे।
लेकिन ऐसा कुछ नहीं हो रहा था समय बीतता जा रहा थे।
लेकिन एक दिन ऐसा हुआ की वो एक बगीचे मे पूरा उदास बैठा था उसी समय एक पूरा बढ़ा आदमी उसके पास आया और बोला की बहुत उदास बैठे हो तुम्हारी कोई परेशानी है क्या ?
यदि कोई परेशानी है तो तुम मुझे बताओ शायद मई तुम्हारी कोई मदद कर सकूँ।
तो उस व्यापारी ने अपनी सारी मुश्किलें बताई। तो वो बूढ़ा व्यक्ति उसे एक cheque sign कर के दिया और खा की फिर तुम इसी दिन इसी जगह पर अगले साल इस चेक को फिर मुझे लौटा देना और वो बूढ़ा व्यक्ति वहा से चला गया।
जब उस व्यापारी ने उस cheque को देखा तो वो 50 लाख का था उसकी आँखे फटी की फटी रह गई । और उस चेक पर जो sign था वो उस शहर के सबसे मशहूर व्यक्ति का था जो वहां का सबसे आमिर व्यक्ति था ।
जा उस व्यापारी ने उसे ढु नने की कोशिश की लेकीन वो आदमी वहां से चला गया था।
अब वो व्यापारी ने प्रण लिया की उस cheque को वो तभी use करेगा जब उसकी बहुत ज्यादा जरुरी हो उसके लिए।
अब वो अपने व्यापार को फिर से खड़ा करने की कोशिश की और उनका व्यापर धीरे धीरे अब आगे बढ़ने लगा और वो कुछ ही दिनों में उनकी अछि खासी इनकम होना स्टार्ट हो गया। और अब वह पहले से भी ज्यादा अच्छी पोजीशन में था।
इस तरह एक साल बीत गया वो दिन आ गया जब उनको ये cheque वापस लौटाने थे।
तब वो फिर उसी बागीचे में पंहुचा जहाँ पर वो उस बड़े आदमी से मिला था उस cheque को लेकर।।
उसने देखा की वो बूढ़ा आदमी वह पर था लेकिन वो कुछ पागल की तरह कर रहा था। उसके बाद वहा पर कुछ आदमी आये और उसे पकड़ कर ले जाने लगे उनलोगो से पूछने पर पता चला की वो बूढ़ा आदमी कोई बड़ा आदमी नहीं था बल्कि वो एक पागल था
वो हमेशा उसे बढे आदमी की तरह बनना चाहता था लेकिन बन नहीं पाया और पागल हो गया। अब वो हमेशा उस बड़े आदमी का हमेशा नकल करता रहता है।
वो व्यपारी यह घटना देखकर उस को अपनी आखो पर विश्वाश नहीं हो पा रहा था।
जब वो उस cheque की तरफ देखा तो वो cheque नकली था।जो वो हमेशा अपने सा थ एक साल से लेकर घूम रहा था।
तब उसे समझ में आया की इतना बड़ा काम वो अपने आत्मविश्वास के कारण प्राप्त किया।जिससे इतना बड़ा चमत्कार हो पाया जो की वह कितनो भी 5 साल तक भी मेहनत करता फिर भी उतना बड़ा आदमी नहीं बन पात आ जो आब वो बन गया था।
ये है आत्मविस्वाश का कमाल।।।
0 Comments
Post a Comment
Thank you for comment